चित्रकूट, सुखेन्द्र अग्रहरि। जंगलों के आसपास बसे गांवों के लोगों की मदद से जलवायु परिवर्तन को अनुकूल बनाने के लिए वन विभाग ने गोष्ठी की। ग्राम प्रधानों व ग्रामीणों को खाली पड़ी जमीनों में फलदार पौधे व जड़ी बूटी लगाने के लिए प्रेरित कर बरसात के पानी को एकत्र करने के लिए भी जागरूक किया गया।
गोष्ठी में जानकारी देते डीएफओ।
रविवार को विभाग के मयूर सभागार में आयोजित गोष्ठी में डीएफओ आरके दीक्षित ने कहा कि देश व विश्व में जलवायु परिवर्तन होता जा रहा है। इससे कहीं सूखा तो कहीं अधिक बारिश हो रही है। पर्यावरण को भी बहुत नुकसान हो रहा है। उन्होंने ग्रामीणों से कहा कि खाली पड़ी जमीन, तालाबों, नदियों के किनारे पेड़ लगाएं। अपने खेतों में जड़ी बूटी की भी उपज करें। तुलसी के पौधे की खेती मात्र तीन महीने में तैयार हो जाती है। इसकी मंजरी से निकलने वाला तेल खुद आकर कंपनिया ले जाती हैं।
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