जिला उद्योग व्यापार मंडल ने जिलाधिकारी को दिया ज्ञापन
बांदा, के एस दुबे । जिला उद्योग व्यापार मंडल के पदाधिकारियों ने गुरुवार को विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष व जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया। ज्ञापन में तमाम समस्याएं जिलाधिकारी को बताते हुए समस्या निस्तारण की मांग की गई है।
व्यापारियों ने जिलाधिकारी को ज्ञापन देकर बताया कि विकास प्राधिकरण का गठन 1084 में हुआ था। शहर बहुत पुराना है। वहां का बाजार आवास मिश्रित आबादी का क्षेत्र है। सड़कें, गलियां भी पुरानी हैं। इसकी वजह से पुराने निर्माणों में जगह कम होने के कारण वहां प्राधिकरण के नियमों के अनुरूप निर्माण में व्यावहारिक कठिनाइयां स्वाभाविक हैं। वहीं आवास विकास में इंदिना नगर, तुलसी नगद, दीनदयाल पुरम आवास कालोनियों में विकास प्राधिकरण के मानकों के अनुरूप ही निर्माण कार्य हो रहे हैं। व्यापारियों ने कहा कि पुराने शहर के आवासों,
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जिलाधिकारी को ज्ञापन देने आए व्यापारी |
बाजारों में सड़कों की संख्या में नोटिस जारी की है। इसमें नक्शा के आधार पर कुछ न कुछ कमियां हैं। एक दशक पूर्व निर्मित भवनों पर अब कार्यवाही करना व्यावहारिक नहीं है। व्यापारियों ने कहा कि प्राधिकरण द्वारा विकास शुल्क नक्शा पास करते समय जमा कराया जाता है, लेकिन उस धनराशि से सड़क, जल निकासी पार्क आदि का कोई कार्य नहीं कराया गया। व्यापारियों ने मांग की है कि शहर की मिश्रित आबादी क्षेत्र की नोटिसों, चालानों, आदेशों की समीक्षा करते हुए कार्रवाई की जए,। विकास प्राधिकरण द्वारा जिसका विकास शुल्क जमा कराया जाए, उस क्षेत्र में खर्च कर नाली, सड़क कार्य कराया जाए। पुराने निर्माण में व्यावसायिक आवास आदि पर कार्रवाई न कराकर नए निर्मित क्षेत्रों में व्यावसायिक अथवा आवासीय क्षेत्रों का निर्माण करने के बाद ही भविष्य में कोई कार्रवाई की जाए। इसके साथ ही प्राधिकरण के द्वारा जनजागरण के द्वारा प्राधिकरण के नियमों की जानकारी जन समस्याओं को दिलाई जाए। इस मौके पर चारुचंद्र खरे, प्रदेश संयुक्त महामंत्री विष्णु कुमार गुप्ता, मंडल अध्यक्ष संतोष कुमार गुप्ता, प्रदेश वरिष्ठ उपाध्यक्ष सत्यप्रकाश सर्राफ जिलाध्यक्ष शिवपूजन गुप्ता, जिला उपाध्यक्ष प्रभारी कमलेश कुमार गुप्ता, जिला महामंत्री संतोंष अनशनकारी नगर अध्यक्ष ज्वाला प्रसाद गुप्ता, जिला उपाध्यक्ष प्रेम गुप्ता नगर महामंत्री आदि मौजूद रहे।
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